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*भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी एवं मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी कोरबा और कटघोरा में संयुक्त रूप से चुनाव लड़ने की घोषणा की,भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी ने कोरबा से सुनील सिंह को और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने कटघोरा से जवाहर सिंह कंवर को अपना प्रत्याशी घोषित किया

*मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी(CPM)*
*भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (CPI)*
*जिला समिति कोरबा, छत्तीसगढ़*

*संयुक्त प्रेस विज्ञप्ति 24 अक्टूबर 2023*

कोरबा/ भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ने विधानसभा क्षेत्र कोरबा और कटघोरा क्षेत्र में मिलजुल कर प्रचार करने की घोषणा की है कोरबा से भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के सुनील सिंह और कटघोरा से मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के जवाहर सिंह कंवर को अपना प्रत्याशी बनाया है।
आज यहां जारी एक संयुक्त बयान में मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी के जिला सचिव, प्रशांत झा और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के जिला सचिव पवन कुमार वर्मा ने उक्त बातें कहीं संयुक्त बयान जारी करते हुए उन्होंने कहा कि दोनों प्रत्याशी, मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के संयुक्त प्रत्याशी है और पार्टियों के कार्यकर्ता उनकी जीत को सुनिश्चित करने के लिए कार्य करेंगे उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ निर्माण के बाद प्रदेश में कांग्रेस और भाजपा दोनों ही पार्टियों की सरकारी रही हैं लेकिन उनकी कॉर्पोरेटपरस्त नीतियों के कारण विनिवेशीकरण और निजीकरण की नीतियों को ही आगे बढ़ाया गया है। जिनके कारण आम जनता विशेष कर असंगठित मजदूरों की बदहाली बढ़ रही है यही कारण है कि आज प्रदेश में नियमित मजदूर से ज्यादा संख्या ठेका मजदूर संविदा कर्मचारी, दैनिक वेतन भोगियों एवं अनियमित कर्मचारियों की है। जिनका भरपूर शोषण किया जा रहा है जिनके पास रोजगार की कोई सुरक्षा नहीं है। बालको जैसे प्रसिद्ध सार्वजनिक उद्यम का निजीकरण करने में तत्कालीन कांग्रेस बीजेपी की सरकारों का ही हाथ है।

दोनों वामपंथी नेताओं ने कहा कि जिले में अंधाधुंध औद्योगीकरण के कारण बड़े पैमाने पर गरीबों का विस्थापन हो रहा है, लेकिन उनके पुनर्वास की चिंता से दोनों पार्टियों का कोई सरोकार नहीं रहा है, इसके कारण एसईसीएल जैसे सार्वजनिक क्षेत्र भी अपने सामाजिक दायित्वों को पूरा करने से इनकार कर रहे हैं, और भू विस्थापितों को उनकी जमीन लौटाने और पुनर्वास भूमि का पट्टा देने से इनकार कर रहे हैं आदिवासी वन अधिकार कानून और पेसा कानून को लागू ही नहीं किया गया है।
उन्होंने कहा कि कोरबा और कटघोरा विधानसभा क्षेत्र में कांग्रेस बीजेपी का राजनैतिक और नीतिगत विकल्प भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी और मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी ही है, जिसने किसान सभा, सीटू, एटक के साथ मिलकर आम जनता की समस्याओं को हल करने के लिए ईमानदारी से संघर्ष किया है। इन संघर्षों के कारण आज आम जनता बदलाव के मूड में है। मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी और भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी का संयुक्त प्रचार अभियान एक राजनैतिक शक्ति के रूप में उभरेगा और विधानसभा में प्रदेश के लिए एक तीसरा विकल्प का दरवाजा भी खुलेगा ।